परात्पर गुरु डॉ. आठवलेजी के ओजस्वी विचार
‘छोटे से सनातन प्रभात ने सहस्त्रों राष्ट्र और धर्म प्रेमियों को तैयार किया है । इसके विपरीत लाखों पाठक संख्यावाले नियतकालिकों ने और दूरदर्शन वाहियों ने क्या हाथ की उंगलियों पर गिने जा सके, इतने राष्ट्र और धर्म प्रेमी भी तैयार किए हैं ? ‘
– (परात्पर गुरु) डॉ. आठवले