PM Modi Donald Trump Meet : प्रधानमंत्री मोदी बांग्लादेश समस्या का समाधान करेंगे !

अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने प्रधानमंत्री मोदी से मुलाकात के बाद यह स्पष्ट कर दिया !

वाशिंगटन (अमेरिका) – प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने अपनी अमेरिका यात्रा के दौरान ओवल ऑफिस में राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प से मुलाकात की। प्रधानमंत्री मोदी ने ट्रम्प को पुनः राष्ट्रपति चुने जाने पर बधाई दी। इस बैठक के दौरान विभिन्न विषयों पर चर्चा की गई। इसमें व्यापार, रूस-यूक्रेन युद्ध आदि शामिल थे। इसके बाद दोनों ने संयुक्त प्रेस कॉन्फ्रेंस कर बैठक में चर्चा किए गए विषयों की जानकारी दी। इस बार बांग्लादेश को लेकर ट्रंप ने कहा, “बांग्लादेश में जो संकट पैदा हुआ है उसके लिए अमेरिका जिम्मेदार नहीं है।” मैं यह निर्णय प्रधानमंत्री मोदी पर छोड़ता हूं कि बांग्लादेश मुद्दे को कैसे सुलझाया जाए।’ इस पर प्रधानमंत्री मोदी की ओर से कोई बयान नहीं दिया गया।

हम रूस-यूक्रेन युद्ध पर तटस्थ नहीं हैं! – प्रधानमंत्री मोदी

मैं सदैव रूस और यूक्रेन के संपर्क में रहा हूं और दोनों देशों के नेताओं से मुलाकात की है। कई लोगों को यह गलतफहमी है कि रूस-यूक्रेन युद्ध में भारत तटस्थ है; प्रधानमंत्री मोदी ने पत्रकारों के एक प्रश्न के उत्तर में कहा कि भारत तटस्थ नहीं है, हम शांति के पक्ष में हैं। उन्होंने आगे कहा कि रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन की मौजूदगी में मीडिया से बात करते हुए मैंने कहा था कि यह युद्ध का समय नहीं है। समस्याओं का समाधान युद्ध के मैदान में नहीं, अपितु बातचीत की मेज पर होता है। युद्ध का समाधान तभी निकल सकता है जब रूस और यूक्रेन दोनों बातचीत की मेज पर आएं। मोदी ने यह भी उम्मीद जताई कि ट्रम्प द्वारा उठाए गए कदम जल्द ही रूस-यूक्रेन युद्ध को रोकने में सफल होंगे।

इस संदर्भ में ट्रम्प ने कहा कि रूस और यूक्रेन के बीच युद्ध को रोकने में चीन की भूमिका भी महत्वपूर्ण है। कोविड महामारी से पहले तक चीन के साथ मेरे संबंध अच्छे थे। चीन विश्व का एक महत्वपूर्ण देश है। चीन, भारत, रूस और अमेरिका मिलकर काम कर सकते हैं।

ट्रम्प ने आतंकवादी तहव्वुर राणा के प्रत्यर्पण को मंजूरी दी

आतंकवादी तहव्वुर राणा

प्रधानमंत्री मोदी ने राष्ट्रपति ट्रम्प के साथ आतंकवाद विरोधी सहयोग पर जोर दिया। अमेरिका ने इस लड़ाई में भारत का साथ देने का वादा किया है। ट्रम्प ने २६ नवम्बर २००८ के मुंबई आतंकवादी हमलों के आरोपी तहव्वुर राणा के प्रत्यर्पण को मंजूरी दे दी है। ट्रम्प ने एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में इस निर्णय की घोषणा की और भविष्य में और अधिक प्रत्यर्पण किए जाने का संकेत दिया। उन्होंने कहा कि हम एक बेहद हिंसक व्यक्ति (तहव्वुर राणा) को तुरंत भारत वापस भेज रहे हैं। हमें इस संबंध में कई अनुरोध प्राप्त हुए हैं। हम भारत के साथ मिलकर अपराध के विरुद्ध काम करते हैं और हम भारत में स्थिति में सुधार करना चाहते हैं।
२१ जनवरी को अमेरिकी सुप्रीम कोर्ट ने प्रत्यर्पण का विरोध करने वाली याचिका को रद्द कर दिया। राणा फिलहाल लॉस एंजिल्स की जेल में है।

भारत अवैध अप्रवासियों को वापस लेगा !

अवैध प्रवास के मुद्दे पर प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने कहा कि दूसरे देशों में अवैध रूप से रह रहे लोगों को वहां रहने का कानूनी अधिकार नहीं है। भारत और अमेरिका के संबंध में हमने हमेशा कहा है कि यदि कोई भारतीय नागरिक अमेरिका में अवैध रूप से रहता हुआ पाया जाता है तो भारत उन्हें वापस लेने के लिए तैयार है।

मोदी ने आगे कहा कि ये लोग सामान्य परिवारों से हैं। उन्हें बड़े-बड़े सपने दिखाए जाते हैं। अधिकांश लोग गुमराह हैं। इसलिए, मानव तस्करी से जुड़ी इस पूरी प्रक्रिया पर नकेल कसने की जरूरत है। भारत और संयुक्त राज्य अमेरिका मानव तस्करी को रोकने के लिए इस प्रकार की प्रक्रिया को समाप्त करने के लिए मिलकर काम कर रहे हैं।

प्रधानमंत्री मोदी और डोनाल्ड ट्रंप की प्रेस कॉन्फ्रेंस के सूत्र

गौतम अडानी पर चर्चा नहीं हुई !

प्रधानमंत्री मोदी से जब पूछा गया कि क्या आपने मुलाकात के दौरान उद्योगपति गौतम अडानी के खिलाफ अमेरिका में दर्ज मामले पर ट्रंप से चर्चा की? तो उन्होंने कहा कि भारत एक लोकतांत्रिक देश है और भारत की संस्कृति ‘वसुधैव कुटुम्बकम’ की है। हम पूरे विश्व को एक परिवार मानते हैं। मुझे लगता है कि हर भारतीय मेरा है। दो देशों के दो शीर्ष नेता कभी भी इस तरह के व्यक्तिगत फार्मूले पर चर्चा नहीं करते।

अडानी पर अमेरिका में सौर ऊर्जा अनुबंधों के लिए अनुकूल परिस्थितियां बनाने के लिए भारतीय अधिकारियों को लगभग २ सहस्त्र १०० करोड़ रुपये की रिश्वत देने का आरोप लगाया गया था। ट्रम्प के राष्ट्रपति बनने के बाद, एक कार्यकारी आदेश द्वारा न्याय विभाग को अडानी समूह की जांच के लिए इस्तेमाल किए गए पुराने कानून को लागू करना बंद करने का निर्देश दिया गया।

चीन के विषय में मध्यस्थता करने के प्रस्ताव को भारत ने रद्द किया

इस मुलाकात के दौरान प्रधानमंत्री मोदी और ट्रंप ने भारत-चीन सीमा विवाद पर भी चर्चा की। प्रेस कॉन्फ्रेंस में ट्रंप ने कहा कि हम भारत-चीन सीमा पर भयानक झड़पें देख रहे हैं और मुझे लगता है कि आगे भी ऐसा ही होता रहेगा। अगर मैं यह सब रोकने में कुछ मदद कर सकूं तो मुझे बहुत खुशी होगी। यह सिलसिला काफी समय से चल रहा है, जो काफी हिंसक है।
इस पर भारतीय विदेश सचिव विक्रम मिस्री ने कहा कि हम किसी भी पड़ोसी देश के साथ अपने किसी भी मुद्दे को द्विपक्षीय वार्ता के जरिए सुलझा लेंगे।

भारत कर मुद्दों पर बातचीत के लिए तैयार! – ट्रम्प

अमेरिका से भारत आने वाले सामानों पर टैरिफ के संबंध में ट्रम्प ने कहा कि प्रधानमंत्री मोदी ने सद्भावनापूर्वक भारत के अनुचित और अत्यधिक टैरिफ में कमी की घोषणा की है। मुझे कहना होगा कि यह एक बड़ी समस्या है। भारत कई वस्तुओं पर ३० , ४० , ६० और यहां तक ​​कि ७० प्रतिशत तक कर लगाता है। कुछ मामलों में तो इससे भी अधिक। उदाहरण के लिए, भारत में आयातित अमेरिकी चार पहिया वाहनों पर ७० प्रतिशत कर के कारण उन्हें बेचना लगभग असंभव हो गया। आज भारत के साथ अमेरिका का व्यापार घाटा लगभग १०० बिलियन डॉलर है।और प्रधानमंत्री मोदी और मैं इस बात पर सहमत हुए हैं कि हम दीर्घकालिक असमानताओं को दूर करने के लिए बातचीत करेंगे। हम तेल और गैस, एल.एन.जी. की बिक्री के माध्यम से आसानी से घाटे को पूरा कर सकते हैं। क्योंकि दुनिया के अन्य देशों की तुलना में हमारे पास सबसे अधिक एलएनजी उत्पाद हैं। भारत और संयुक्त राज्य अमेरिका ने एक ऐतिहासिक ऊर्जा समझौते पर हस्ताक्षर किए हैं, जो संयुक्त राज्य अमेरिका को भारत के लिए तेल और गैस के प्रमुख आपूर्तिकर्ता के रूप में पुनः स्थापित करेगा। भारत उच्चतम स्तर की परमाणु प्रौद्योगिकी के लिए भारतीय बाजार में संयुक्त राज्य अमेरिका का स्वागत करने के लिए अपने कानूनों में संशोधन भी कर रहा है। इससे लाखों भारतीयों को सुरक्षित, स्वच्छ और सस्ती बिजली मिलेगी तथा भारत में अमेरिकी असैन्य परमाणु उद्योग के लिए अरबों डॉलर का राजस्व उत्पन्न होगा।

प्रधानमंत्री मोदी पर दबाव बनाने का प्रयास

राष्ट्रपति ट्रम्प ने प्रधानमंत्री मोदी से मुलाकात से पहले आयात शुल्क नीति पर हस्ताक्षर किए। इस नीति के अनुसार, संयुक्त राज्य अमेरिका अब अन्य देशों पर उसी दर से टैरिफ लगाएगा जिस दर पर वे संयुक्त राज्य अमेरिका पर लगाते हैं।

ट्रम्प ने प्रधानमंत्री मोदी की प्रशंसा की

“आप हमेशा प्रधानमंत्री मोदी को ‘ महान नेगोशिएटर ‘कहते हैं; लेकिन आज की वार्ता में किसने किसे हराया?’ इस सवाल का जवाब देते हुए राष्ट्रपति ट्रंप ने हंसते हुए कहा कि वार्ता में कोई भी प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का हाथ नहीं पकड़ सकता। वे इस मामले में मुझसे कई गुना बेहतर हैं।

संपादकीय भूमिका

भारतीयों को उम्मीद है कि प्रधानमंत्री मोदी अब बांग्लादेश मुद्दे को शीघ्रता से सुलझा लेंगे। इससे न केवल वहां के हिन्दुओं की रक्षा होगी, बल्कि पूर्वोत्तर भारत के हिन्दुओं की भी रक्षा होगी । इसके लिए सभी भारतीय प्रधानमंत्री मोदी के पीछे खड़े हैं !